रायपुर, 10 मई 2025 – छत्तीसगढ़ राज्य में शनिवार को आयोजित की जा रही राष्ट्रीय लोक अदालत के लिए ज़ोर-शोर से तैयारियाँ की गई हैं। इस लोक अदालत का मुख्य उद्देश्य लंबित मामलों का त्वरित, सुलभ और सौहार्दपूर्ण समाधान करना है।
छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश श्री रमेश सिन्हा ने राज्य की सभी जिला अदालतों, बैंकिंग ट्रिब्यूनलों और अन्य संबंधित संस्थानों से समन्वय करते हुए इस महाअभियान की समीक्षा की है। इस बार लोक अदालत में 34 लाख से अधिक मामलों की पहचान की गई है जिन्हें निपटाने का लक्ष्य रखा गया है।
किन मामलों का निपटारा होगा?:-बिजली बिल विवाद,बैंक ऋण वसूली मामले,यातायात चालान,मोटर दुर्घटना क्षतिपूर्ति,पारिवारिक विवाद (आपसी सहमति वाले),श्रम और सेवा विवाद,आपराधिक शमनीय मामले
लाभ क्या होंगे:-पक्षकारों को लंबी कानूनी प्रक्रिया से राहत,अदालत शुल्क में छूट,समझौते के ज़रिये आपसी समाधान,निर्णय को उच्च न्यायालय में चुनौती नहीं दी जा सकती
मुख्य न्यायाधीश ने जनता से अपील की है कि वे इस अवसर का लाभ उठाएं और अपने लंबित विवादों का समाधान लोक अदालत के माध्यम से करें। यह अभियान न्यायिक प्रणाली में बोझ कम करने के साथ-साथ आम नागरिकों को त्वरित न्याय देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।

छत्तीसगढ़ में राष्ट्रीय लोक अदालत: 34 लाख मामलों के निपटारे की तैयारी
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