बालोद 12 जनवरी 2025। जिला मुख्यालय बालोद में करोड़ों रुपये की लागत से निर्मित पर्यावरण पार्क में लापरवाही के मामले सामने आए हैं। यहां स्कूली बच्चे बिना किसी सुरक्षा उपायों के एडवेंचर का लुत्फ उठा रहे हैं। सुरक्षा को लेकर किए गए दावों की पोल पार्क की मौजूदा स्थिति खोल रही है।
सुरक्षा के नाम पर लापरवाही
पार्क में एडवेंचर गतिविधियों के लिए शुल्क तो लिया जा रहा है, लेकिन सुरक्षा का कोई पुख्ता इंतजाम नहीं है। बच्चे 10 रुपये प्रति व्यक्ति का टिकट लेकर करीब 15 फीट ऊंचाई तक चढ़ रहे हैं, जबकि उनके पास कोई सुरक्षा उपकरण मौजूद नहीं है। यदि कोई हादसा होता है, तो इसकी जिम्मेदारी कौन लेगा, यह बड़ा सवाल है।
बुनियादी सुविधाओं का अभाव
पार्क में न केवल सुरक्षा का अभाव है, बल्कि बुनियादी सुविधाएं भी नदारद हैं। पीने के पानी की व्यवस्था नहीं है, और शौचालयों में पानी उपलब्ध नहीं है। पार्क में देखरेख के अभाव में जगह-जगह कचरे के ढेर दिखाई देते हैं, जिससे पर्यावरण संरक्षण के उद्देश्य को ठेस पहुंचती है।
वन विभाग की प्रतिक्रिया
वन विभाग की एसडीओ डिंपी बैस ने कहा, “बिना सेफ्टी बेल्ट के एडवेंचर गतिविधियां संचालित होने का मामला पहली बार सामने आया है। पार्क में दो कर्मियों की ड्यूटी रहती है। जल्द ही कार्रवाई की जाएगी और व्यवस्था को सुधारने के प्रयास होंगे।”
प्रशासन की ओर से कार्रवाई का इंतजार
यह देखना होगा कि वन विभाग इन लापरवाहियों पर क्या कदम उठाता है और जिम्मेदार अधिकारियों या कर्मचारियों के खिलाफ क्या कार्रवाई की जाती है। इस मामले ने पर्यावरण पार्क की व्यवस्थाओं को लेकर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।
जनता की मांग
स्थानीय लोग और अभिभावक मांग कर रहे हैं कि पार्क में न केवल सुरक्षा के इंतजाम सुनिश्चित किए जाएं, बल्कि बुनियादी सुविधाएं भी उपलब्ध कराई जाएं, ताकि पर्यावरण पार्क अपने उद्देश्य को सही मायनों में पूरा कर सके।