कांकेर 20 दिसंबर 2025:- जिले के चारामा विकासखंड अंतर्गत पुरी क्षेत्र के ग्राम कहाड़गोंदी में 20 से 24 दिसंबर 2025 तक कोया पुनेम एवं संवैधानिक पाँच दिवसीय केंद्रीय प्रशिक्षण शिविर का आयोजन किया जा रहा है। यह शिविर 21वें वर्ष में प्रवेश कर चुका है और विशेष रूप से पेसा दिवस के अवसर पर आयोजित किया जा रहा है। इस प्रशिक्षण शिविर में देशभर से चयनित युवा एवं युवतियाँ भाग लेंगे, जिनका उद्देश्य आदिवासी समाज को उनकी परंपरागत जीवनशैली, प्रकृति आधारित संस्कृति और संवैधानिक अधिकारों के प्रति जागरूक करना है।
पाँच दिवसीय इस प्रशिक्षण शिविर में पेसा कानून, वन अधिकार मान्यता कानून, संवैधानिक अधिकार, ग्रामसभा सशक्तिकरण, आरक्षण व्यवस्था, आदिवासी स्वशासन प्रणाली, गोंडवाना के वैज्ञानिक सिद्धांत, कोयतोरियन तकनीक, हम्म-पुंजम, नारी व्यवस्था, टोटेमिक सिस्टम, लिंगो पेन परंपरा, गोंड करसना तकनीक सहित आदिवासी समाज की सदियों पुरानी परंपराओं का सैद्धांतिक और व्यावहारिक प्रशिक्षण दिया जाएगा। देश के विभिन्न हिस्सों से आए विषय विशेषज्ञ, समाज प्रमुख, बुद्धिजीवी, गोंडी पुजारी, सिरमेटी एवं गायक-वादक प्रशिक्षणार्थियों को मार्गदर्शन प्रदान करेंगे।
आयोजकों के अनुसार इस वर्ष कुल 750 प्रशिक्षणार्थियों को ही प्रवेश दिया जाएगा, जिसमें राष्ट्रीय कोटा 120, प्रांतीय कोटा 400 तथा क्षेत्रीय कोटा 230 निर्धारित किया गया है। प्रशिक्षण में शामिल होने वाले सभी प्रशिक्षणार्थियों को 20 दिसंबर को दोपहर 2 बजे तक प्रशिक्षण स्थल पर उपस्थित होना अनिवार्य होगा तथा 24 दिसंबर को पेन विदा तक शिविर स्थल पर रुकना होगा। सभी प्रशिक्षणार्थियों को पारंपरिक सफेद पगड़ी एवं सफेद स्कार्फ पहनना अनिवार्य किया गया है और यथासंभव अपने पारंपरिक वेशभूषा व वाद्ययंत्र साथ लाने का आग्रह किया गया है। प्रशिक्षण स्थल पर पॉलीथिन एवं प्लास्टिक से बनी सामग्री पूरी तरह प्रतिबंधित रहेगी।
प्रशिक्षण के दौरान प्रतिभागियों को प्रतिदिन होने वाले सभी सत्रों में अनिवार्य रूप से उपस्थित रहना होगा। भोजन, नाश्ता, स्नान और विश्राम जैसे अवकाश सत्रों में भी पारंपरिक आदिम जीवनशैली को व्यावहारिक रूप से समझाने का प्रयास किया जाएगा।
इसके साथ ही प्रशिक्षणार्थियों को कार्यक्रम संचालन से जुड़ी अलग-अलग जिम्मेदारियाँ भी दी जाएंगी, ताकि उनमें निर्णय क्षमता और नेतृत्व गुण विकसित हो सकें। किसी भी राजनीतिक दल के नारे, चिन्ह या प्रतीक के प्रयोग पर पूर्ण प्रतिबंध रहेगा।
24 दिसंबर 2025 को राष्ट्रीय स्तर पर पेसा दिवस मनाया जाएगा, जिसमें विशेष कार्यक्रम आयोजित होंगे। प्रशिक्षण स्थल तक पहुँचने के लिए रायपुर, कांकेर, जगदलपुर, भानुप्रतापपुर एवं कोरर से मार्ग निर्धारित किए गए हैं। यह आयोजन गोंडवाना समाज समन्वय समिति क्षेत्र पुरी, ब्लॉक चारामा एवं केबीकेएस के संयुक्त तत्वावधान में किया जा रहा है, जिसमें कोया कुटमा बस्तर संभाग, कोयतोर सोसियो इकोनॉमिक फोरम, नवोदित छत्तीसगढ़ आदिवासी कल्याण संस्थान तथा छत्तीसगढ़ राज्य आदिम संस्कृति, कला एवं साहित्य संस्थान का सहयोग प्राप्त है।
आयोजकों का कहना है कि वर्तमान समय में प्रकृति और मानव जीवन संकट की स्थिति में पहुँच गया है, ऐसे में कोया पुनेम के माध्यम से समाज को शोषणमुक्त, कर्जमुक्त, भयमुक्त, रोजगारयुक्त, आत्मनिर्भर और स्वावलंबी बनाने की दिशा में यह प्रशिक्षण शिविर एक महत्वपूर्ण कदम है।







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