जगन्नाथ साहू, बालोद।
बालोद 11 जुलाई 2025। अगर आप भी फिल्मों के शौकीन हैं और परिवार के साथ टॉकीज जाने की सोच रहे हैं, तो पहले ज़रूर पुष्टि कर लें कि जो पोस्टर आप देख रहे हैं, क्या वाकई वही फिल्म पर्दे पर चल रही है। बालोद जिले के मुख्यालय स्थित पाची सिनेमा में कुछ ऐसा ही वाकया सामने आया, जिसने दर्शकों को नाराज़ ही नहीं, बल्कि ठगा हुआ महसूस कराया।
दरअसल, टॉकीज के बाहर और अंदर छत्तीसगढ़ी फिल्म “मैं राजा तै मोर रानी” का पोस्टर लगाया गया था, लेकिन जब फिल्म शुरू हुई, तो पर्दे पर चली हिंदी फिल्म “मालिक”, जिससे दर्शक हैरान और मायूस होकर बीच में ही बाहर निकल आए। मामले ने तूल तब पकड़ा जब दर्शकों ने कोतवाली थाने में फोन कर इसकी शिकायत दर्ज कराई।
सूचना मिलते ही पुलिस की टीम सुमित बाजार पहुंची, जहां पाची सिनेमा संचालित हो रहा है। पुलिस की मौजूदगी में छत्तीसगढ़ी फिल्म का पोस्टर हटाया गया और असली फिल्म “मालिक” का पोस्टर लगाया गया। लेकिन तब तक दर्शकों का भरोसा टूट चुका था।
दानवीर सिन्हा, जो अपने परिवार के साथ फिल्म देखने पहुंचे थे, उन्होंने बताया कि उन्हें लगा था छत्तीसगढ़ी फिल्म देखने जा रहे हैं, लेकिन अंदर कुछ और ही चल रहा था। ऑनलाइन टिकट बुकिंग के चलते न तो रिफंड मिला और न ही पारदर्शिता दिखी। उन्होंने आरोप लगाया कि कुछ दर्शकों को गुपचुप तरीके से फिल्म दिखाने की पेशकश तक की गई।
इतना ही नहीं, पाची सिनेमा में दिव्यांगों और बुजुर्गों के लिए लिफ्ट कई दिनों से खराब पड़ी है, जिससे उनके लिए ऊपर जाना चुनौती बन गया है। बावजूद इसके, पूरी सुविधाओं का वादा कर मोटी रकम वसूली जा रही है, जो संचालक की मनमानी और लापरवाही को दर्शाता है।
आख़िरकार, कई दर्शक बिना फिल्म देखे ही लौट गए, और अब यह मामला शहरभर में चर्चा का विषय बना हुआ है। लोगों की मांग है कि संबंधित अधिकारियों द्वारा इस पूरे प्रकरण की जांच की जाए और ऐसे मामलों पर सख्त कार्रवाई की जाए, ताकि भविष्य में दर्शकों को इस तरह की ठगी का शिकार न होना पड़े।
👉 सावधानी बरतें: फिल्म देखने से पहले हमेशा शो की पुष्टि करें और ऑनलाइन टिकट बुक करते समय विवरण जरूर जांचें।


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